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यूरिन इंफेक्‍शन से लेकर पथरी जैसे रोगों का नाश करता है 'जौ का पानी'

यूरिन इंफेक्‍शन से लेकर पथरी जैसे रोगों का नाश करता है 'जौ का पानी'


यूरिन इंफेक्‍शन से लेकर पथरी जैसे रोगों का नाश करता है 'जौ का पानी'

पथरी और यूरिन इंफेक्‍शन होने पर आमतौर पर डॉक्‍टर जौ का पानी पीने की हिदायत देते है। डायबिटीज और वजन कम करने के ल‍िए भी जौ का पानी किसी अमृत से कम नहीं होता है। आदिकाल से ही जौ हमारे खानपान का महत्‍वपूर्ण हिस्‍सा रहा है। जौ में मौजूद पौटेशियम और फाइबर की भरपूर मात्रा हमारे शरीर को कई रोगों से बचाता है। अगर हम रोजाना सुबह जौ का पानी पीएं तो इससे हमारे स्वास्थ्य को बहुत लाभ होते हैं।
जौ का पानी शरीर में कोलेस्ट्रॉल को कम कर हृदय रोगों से बचाता है। जौ में विटामिन बी-कॉम्प्लेक्स, आयरन, कैल्शियम, मैग्नीशियम, मैगनीज, सेलेनियम, जिंक, कॉपर, प्रोटीन, अमीनो एसिड, डायट्री फाइबर्स और कई तरह के एंटी-ऑक्सीडेंट पाए जाते हैं। यह शरीर के लिए कई तरह से फायदा पहुंचाता है।

आइए जानते है इसके क्‍या-क्‍या लाभ है?


डायबिटीज में लाभदायक

डायबिटीज के मरीज भी जौ का पानी ले सकते हैं क्योंकि यह शुगर कंट्रोल करता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स से डायबिटीज में भी सुधार होता है। यह गर्भावस्था में होने वाली पैरों और टखनों की सूजन को दूर करने के साथ इस दौरान होने वाली जेस्टेशनल डायबिटीज से भी बचाता है।


यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन होने

बच्चों और महिलाओं में यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन होने पर जौ का पानी पीने की ह‍िदायत दी जाती है। यह मूत्र के जरिए किडनी से स्‍टोन और सिस्‍ट बाहर निकालता है।


पथरी होने पर

किडनी में स्टोन की समस्या में भी जौ का पानी पीने की सलाह दी जाती है। इसका पानी पीने से पथरी गल जाती है। पथरी के रोगियों को जो से बनी खाद्य सामग्री जैसे रोटी, धाणी, जौ का सत्‍तू खाना चाहिए।

कब्‍ज या दस्‍त होने पर

कब्ज, बवासीर और दस्त होने पर भी जौ का पानी बहुत लाभदायक होता है। जौ का पानी शरीर में होने वाले पोषक तत्वों और पानी की कमी को पूरा करता है।


रंगत सुधारने के लिए

त्वचा में निखार लाता है जौ सिर्फ हमारे लिए आंतरिक ही नहीं बाहरी रूप से भी फायदेमंद है। ये हमारी त्वचा में निखार लाता है। जौ के पानी में मौजूद अमेज़ेक एसिड से चहरे के मुँहासे ठीक होते हैं। इसके साथ आप जौ के आटे में हल्दी, सरसो का तेल और थोड़ा सा पानी मिलाकर इसका बना लें। नियमित रूप से इस लेप का प्रयोग करें व गरम पानी से स्नान कर ले। कुछ ही दिनों में आपकी त्वचा में निखार आ जाएगा।

वजन होता है तेजी से कम

जौ घुलनशील और अघुलनशील फाइबर का स्रोत होता है। इस कारण इसके सेवन के बाद आपको देर तक पेट भरा हुआ महसूस होता है। इसके सेवन के बाद आपको कई देर भूख नहीं लगती है। इससे शरीर में एक्स्ट्रा कैलोरीज नहीं जमा होती हैं। इसके अलावा जौ के पानी से पाचन अच्छा रहता है, इसलिए इससे आपका मेटाबॉलिज्म भी तेज होता है। इस प्रकार, इसे पीने से वजन तेजी से कम होता है।


बॉडी को करता है डिटॉक्‍स

नियमित रुप से जौ का पानी पीने से ये आपके शरीर में इक्‍ट्ठा हुए विषैले तत्‍व को मूत्र के द्वारा बाहर निकालने में मदद करता है। जौ में मौजूद बीटा-ग्‍लुकन नामक शर्करा समूह, शरीर में विषैले तत्‍व को बाहर निकाल करने के साथ ही शरीर की आंतरिक सिस्‍टम की सफाई करता है।


कॉलेस्‍ट्रॉल करें कम और डाइजेशन करें दुरुस्‍त

जौ शरीर में बैड कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करता है। इससे आपको दिल की बीमारियों की आशंका कम होती है। इसके अलावा इसमें मौजूद डाइजेस्टिव फाइबर की वजह से खाना तेजी से पचता है व आंतों में जमी गंदगी साफ होती है। जब आप जौ का पानी पीते हैं, तो इससे आपका शरीर लंबे समय तक हाइड्रेटेड भी रहता है।

कैसे बनाएं जौ का पानी

एक कप जौ को पानी धो लें और फिर इसे 3 कप पानी में भिगो दें। 3 घंटे बाद इसे छान लें और 3-4 कप पानी लें इसमें भीगे हुए जौ डालकर 30 मिनट के लिए उबालें। इस पानी को छानकर ठंडा करके पीएं।

ध्‍यान रखें

रोजाना 2-3 कप जौ का पानी पी सकते हैं। स्वाद पसंद न आने पर इसमें नींबू का रस और ​शहद मिला सकते हैं। आप छिलके वाले और बिना छिलके वाले दोनों में से किसी भी तरह के जौ का इस्तेमाल कर सकते हैं। छिलके वाले जौ में फाइबर ज्यादा होता है, जिसके कारण इसे पकने में समय ज्यादा लगता है।


ज्‍यादा पीने से नुकसान

इसे अधिक मात्रा में लेने से नुकसान हो सकता है। एक दिन में 2-3 कप जौ के पानी से अधिक न पीएं। तय मात्रा से अधिक लेने से रैशेज, एलर्जी या क्रॉनिक कब्ज हो सकता है।

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